सोहाना बिल्डिंग बचाव: एनडीआरएफ और सेना द्वारा 23 घंटे तक चला बचाव अभियान पूरा हुआ
कार्यवाहक डी.सी. तिड़के ने ऑपरेशन के प्रमुख खिलाड़ियों एनडीआरएफ और सेना को धन्यवाद दिया; नागरिक अधिकारियों की उनके सहयोग और त्वरित कार्रवाई के लिए सराहना की
एसएएस नगर : जिला प्रशासन ने मोहाली (सोहाना) में बिल्डिंग ढहने के घटना स्थल पर एनडीआरएएफ, सेना, पुलिस, नगर निगम और स्वास्थ्य विभाग की मदद से 23 घंटे तक चलाए गए लगातार बचाव अभियान को आज शाम 4:30 बजे पूरा कर लिया।
कार्यवाहक उपायुक्त विराज एस तिड़के ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक दीपक पारीक और नगर निगम आयुक्त टी बेनिथ की उपस्थिति में विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि मलबे में फंसे लोगों को निकालने के लिए चलाए इस बड़े अभियान में तब और तेजी आई जब देर शाम एक गंभीर रूप से घायल महिला को मलबे से निकाला गया। इसके बाद पूरी रात चला अभियान आज शाम साढ़े चार बजे तक जारी रहा। एनडीआरएफ ने सायं स्पष्ट कर दिया कि मलबे में अब किसी और व्यक्ति के फंसे होने की संभावना नहीं है।
बचाव अभियान पूरा होने के बाद मीडिया को जानकारी देते हुए श्री तिड़के, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक दीपक पारीक और नगर निगम आयुक्त टी बेनिथ ने बताया कि इस अभियान में एनडीआरएफ, सेना और पुलिस के करीब 600 जवान लगे थे। उन्होंने ऑपरेशन के प्रमुख खिलाड़ियों एनडीआरएफ और सेना का आभार जताया और पुलिस, नगर निगम, सिविल और अन्य विभागों की सराहना की जिन्होंने अभियान को समय पर पूरा करने के लिए दिन-रात काम किया। उन्होंने कहा कि एनडीआरएफ की टीम के करीब 140 सदस्य, सेना की 57 इंजीनियर्स रेजिमेंट के 167, स्थानीय पुलिस के 300 से अधिक और संबद्ध विभागों के बाकी सदस्य इस अभियान में शामिल थे और सभी ने अपनी जिम्मेदारी पूरी लगन से निभाई।
हादसे में हुई मौतों के बारे में जानकारी देते हुए श्री विराज एस तिड़के ने आगे कहा कि पूरे अभियान में दो मौतें सामने आयी हैं, जिनमें से एक हिमाचल की दृष्टि (20) और दूसरा अंबाला का अभिषेक धनवाल (30) है। उन्होंने कहा कि अभियान पूरा होने की घोषणा करने से पहले एनडीआरएफ ने मलबे की अच्छी तरह से जांच की थी।
इस अभियान के दौरान एनडीआरएफ को पहले से मौजूद मशीनरी के अलावा एम सी द्वारा अपनी जरूरी मशीनरी भी मुहैया कराई गई थी।
उन्होंने कहा कि जिम्मेदारी तय करने के लिए इस घटना की मजिस्ट्रेट जांच के आदेश दे दिए गए हैं। मोहाली की सब डिविजनल मजिस्ट्रेट दमनदीप कौर को जांच का जिम्मा सौंपा गया है और उन्हें तीन सप्ताह के भीतर रिपोर्ट सौंपने को कहा गया है।
पूरे अभियान पर जिला सिविल और पुलिस अधिकारियों द्वारा इसके पूरा होने तक कड़ी निगरानी रखी गई। आज राहत अभियान के दौरान एडीसी (शहरी विकास) अनमोल सिंह धालीवाल, एसपी जिला पुलिस ज्योति यादव बैंस, डीआइजी हरचरण सिंह भुल्लर और अन्य अधिकारी मौजूद रहे | (डी पी आर के इनपुट सहित)
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