ध्यानचंद लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार की जगह अब दिया जाएगा अर्जुन लाइफटाइम पुरस्कार
मुंबई: केंद्रीय खेल मंत्रालय ने एक महत्वपूर्ण निर्णय लेते हुए ध्यानचंद लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार को बंद करने का ऐलान किया है। इसके स्थान पर अब अर्जुन लाइफटाइम पुरस्कार दिया जाएगा। यह बदलाव उन खिलाड़ियों को मान्यता देने के लिए किया गया है जो ओलंपिक, पैरालंपिक, एशियाई खेलों और राष्ट्रमंडल खेलों में भाग लेते हैं।
ध्यानचंद लाइफटाइम पुरस्कार का इतिहास:
ध्यानचंद लाइफटाइम पुरस्कार की स्थापना 2002 में महान हॉकी खिलाड़ी मेजर ध्यानचंद के नाम पर की गई थी। इस पुरस्कार का उद्देश्य खिलाड़ियों को उनकी उत्कृष्टता और योगदान के लिए सम्मानित करना था। यह पुरस्कार कई प्रतिष्ठित खेल आयोजनों में भाग लेने वाले खिलाड़ियों को दिया जाता था।
अर्जुन लाइफटाइम पुरस्कार की शुरुआत:
मंत्रालय ने घोषणा की है कि अर्जुन लाइफटाइम पुरस्कार खिलाड़ियों की उपलब्धियों और समर्पण को पहचानने के लिए एक नई पहल होगी। यह पुरस्कार उन खिलाड़ियों को प्रदान किया जाएगा जो राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर खेलों में उत्कृष्टता का प्रदर्शन करते हैं। मंत्रालय ने कहा है कि इस वर्ष के राष्ट्रीय खेल पुरस्कारों के लिए आवेदन करने की अंतिम तिथि 14 नवंबर है, और वे सभी खिलाड़ियों को इस पुरस्कार के लिए आवेदन करने के लिए प्रोत्साहित कर रहे हैं।
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