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इंद्री-घरौंडा में प्रत्याशी घटे, नीलोखेड़ी और करनाल में बढ़े; महिला उम्मीदवारों की संख्या में कमी

चार चुनावों में महिलाओं की भागीदारी में लगातार कमी

 

हरियाणा: इंद्री और घरौंडा में प्रत्याशियों की संख्या में कमी, नीलोखेड़ी और करनाल में बढ़ोतरी; महिलाओं की भागीदारी में गिरावट                                चंडीगढ़ – हरियाणा विधानसभा चुनावों के बीच, कुछ निर्वाचन क्षेत्रों में प्रत्याशियों की संख्या घट रही है, जबकि अन्य में बढ़ रही है। विशेष रूप से, इंद्री और घरौंडा में प्रत्याशियों की संख्या कम हो गई है, जबकि नीलोखेड़ी और करनाल में यह संख्या बढ़ी है। हालांकि, महिला उम्मीदवारों की संख्या में लगातार गिरावट देखी जा रही है, जो चिंता का विषय है।

महिला उम्मीदवारों की घटती संख्या: केंद्र सरकार द्वारा महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने के प्रयास किए गए हैं, लेकिन आंकड़े बताते हैं कि नीलोखेड़ी में महिला प्रत्याशियों की संख्या चार चुनावों में लगातार घट रही है। घरौंडा विधानसभा क्षेत्र से 2009 के बाद कोई महिला उम्मीदवार चुनावी मैदान में नहीं उतरी। पिछले चुनावों के आंकड़ों के अनुसार, महिलाओं की भागीदारी लगातार कम हो रही है।

वर्तमान स्थिति:
करनाल: 2000 के बाद 2014 को छोड़कर पहली बार 12 प्रत्याशी मैदान में हैं। 1996 में 34 प्रत्याशी थे, जिनमें कोई महिला शामिल नहीं थी। इस बार भी दो महिलाएं चुनाव लड़ रही हैं।
नीलोखेड़ी: 1996 के बाद पहली बार 15 प्रत्याशी मैदान में हैं। हालांकि, महिलाओं की संख्या घटकर दो रह गई है।
इंद्री: 1977 के बाद पहली बार छह प्रत्याशी मैदान में हैं, लेकिन एक भी महिला प्रत्याशी नहीं है।
घरौंडा: 2009 के बाद प्रत्याशियों की संख्या घटती जा रही है। इस बार केवल 8 प्रत्याशी हैं और कोई महिला उम्मीदवार नहीं है।
असंध: 2014 में 28 प्रत्याशी मैदान में थे, इस बार 14 प्रत्याशी हैं और दो महिलाएं चुनाव लड़ रही हैं।
आंकड़े और भविष्य की दिशा: पिछले चार चुनावों में प्रत्याशियों की संख्या की तुलना से स्पष्ट होता है कि कुछ क्षेत्रों में प्रतिस्पर्धा बढ़ी है, जबकि अन्य में कमी आई है। महिलाओं की भागीदारी में कमी पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है, ताकि चुनावी प्रक्रिया में उनकी अधिक भागीदारी सुनिश्चित की जा सके।

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