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हथिनी कुंड बैराज का जलस्तर घटा, पनबिजली परियोजना संकट में

यमुनानगर : हरियाणा के यमुनानगर स्थित हथिनी कुंड बैराज का जलस्तर लगातार घटता जा रहा है, जिससे पनबिजली परियोजनाओं और जल आपूर्ति पर गंभीर असर पड़ सकता है। इस स्थिति ने दिल्ली और आसपास के इलाकों में जल संकट का खतरा बढ़ा दिया है।

जलस्तर में गिरावट का असर:
बुधवार शाम 5 बजे हथिनीकुंड बैराज पर 3107 क्यूसेक पानी दर्ज किया गया। इसमें से यमुना नदी में मात्र 352 क्यूसेक पानी छोड़ा गया, जबकि 2755 क्यूसेक पानी पश्चिमी नहर की ओर बहाया गया। बैराज पर पानी स्टोर करने की कोई व्यवस्था नहीं है, जिससे हरियाणा और दिल्ली जैसे राज्यों की जल आपूर्ति प्रभावित हो सकती है।

पनबिजली परियोजनाओं पर संकट:
जलस्तर में आई कमी का सीधा असर हथिनीकुंड बैराज से जुड़ी पनबिजली परियोजनाओं पर पड़ा है। पानी की कमी से बिजली उत्पादन भी प्रभावित हो सकता है, जिससे इस क्षेत्र की बिजली आपूर्ति पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं।

लंबित परियोजना और बढ़ते खतरे:
पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने हिमाचल प्रदेश और हरियाणा की सीमा पर पानी स्टोर करने के लिए एक बांध बनाने की योजना की घोषणा की थी, जिसका अनुमानित खर्च लगभग 1000 करोड़ रुपये था। हालांकि, यह परियोजना फिलहाल ठंडे बस्ते में है। इस परियोजना के पूरा न होने से न केवल जल संकट गहराया है, बल्कि दिल्ली के लिए भी गंभीर समस्या बनती जा रही है।

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