हरियाणा में बढ़ेगी BJP की टेंशन? लिस्ट जारी होने के बाद अब तक इतने नेताओं ने दिया इस्तीफा
Haryana Election 2024: बीजेपी ने बुधवार को 90 में से 67 सीटों पर उम्मीदवार उतारे. इसके बाद से ही पार्टी में इस्तीफों का दौर जारी है.
हरियाणा में विधानसभा चुनाव से पहले भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) को भारी झटका लगा है। बुधवार, 4 सितंबर को 67 सीटों पर उम्मीदवारों की सूची जारी होने के बाद, पार्टी में असंतोष की लहर फैल गई। कई नेताओं ने अपने पदों से इस्तीफा दे दिया और कुछ ने पार्टी छोड़कर निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ने का ऐलान किया। यह इस्तीफे पार्टी के भीतर गहरे असंतोष को दर्शाते हैं, जो उम्मीदवारों की चयन प्रक्रिया से संबंधित हो सकता है।
हरियाणा विधानसभा चुनाव से पहले बीजेपी में असंतोष के चलते कई बड़े नेताओं ने इस्तीफा दे दिया है। इस्तीफे के बाद इनमें से कुछ नेताओं ने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ने की घोषणा की है, जबकि कुछ ने अन्य दलों का रुख किया है। यहाँ उन प्रमुख नेताओं की सूची दी गई है जिन्होंने इस्तीफा दिया है:
किन-किन नेताओं ने दिया इस्तीफा
रणजीत चौटाला: मंत्री पद से इस्तीफा देकर निर्दलीय चुनाव लड़ने का ऐलान किया है।
1. लक्ष्मण नापा: रतिया से बीजेपी विधायक थे, टिकट कटने पर पार्टी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो गए।
2. करणदेव कंबोज: हरियाणा ओबीसी सेल के अध्यक्ष थे, इंद्री विधानसभा से टिकट न मिलने पर पार्टी के सभी पदों से इस्तीफा दिया।
3. सुखविंदर सिंह मांडी: बीजेपी किसान मोर्चा के राज्य अध्यक्ष, पार्टी से इस्तीफा दे दिया।
4. आदित्य चौटाला: हरियाणा स्टेट एग्रीकल्चरल मार्केटिंग बोर्ड के अध्यक्ष, पार्टी से इस्तीफा दे दिया।
5. शमशेर गिल: बीजेपी नेता, पार्टी से इस्तीफा दे दिया।
6. विकास उर्फ बल्ले: दादरी किसान मोर्चा जिला अध्यक्ष, इस्तीफा दिया।
7. दर्शनगिरी महाराज: हिसार से बीजेपी नेता, पार्टी से इस्तीफा दिया।
8. प्रशांत सनी यादव: रेवाड़ी के युवा नेता, पार्टी से इस्तीफा दिया। 2019 में निर्दलीय चुनाव लड़कर 22,000 वोट हासिल किए थे।
9. इंदु वलेचा: बीजेपी प्रदेश महिला सचिव, इस्तीफा दिया।
10. संजीव वलेचा: इंदु वलेचा के पति और सोनीपत जिला उपाध्यक्ष, इस्तीफा दिया।
11. नवीन गोयल: बीजेपी व्यापार प्रकोष्ट के प्रदेश संयोजक, इस्तीफा देकर गुरुग्राम से निर्दलीय चुनाव लड़ने का फैसला किया।
हरियाणा में बीजेपी नेताओं के इस्तीफों के बीच मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि पार्टी के प्रतीक “कमल का फूल” सिर्फ एक ही जगह रह सकता है, जबकि इसे पाने की इच्छा रखने वालों की संख्या अधिक है। इसका मतलब यह है कि हर उम्मीदवार को टिकट देना संभव नहीं है।
करण देव कंबोज और लक्ष्मण नापा के इस्तीफे पर उन्होंने कहा कि ये दोनों पार्टी के मजबूत नेता हैं, और पार्टी उनके साथ बातचीत कर उन्हें मनाने की कोशिश करेगी। सैनी ने इस संदेश के माध्यम से यह संकेत दिया कि पार्टी में असंतोष को सुलझाने के प्रयास किए जा रहे हैं, और वह चाहते हैं कि नेता पार्टी के साथ बने रहें।
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